Evidence Act की धारा 106 उन मामलों पर लागू होगी जहां अभियोजन पक्ष उन तथ्यों को स्थापित करने में सफल रहा है – उच्चतम न्यायालय

सर्वोच्च अदालत ने कहा है कि साक्ष्य अधिनियम, 1872 की धारा 106 के तहत अभियुक्त के भार को निभा पाने में विफलता परिस्थितिजन्य साक्ष्य द्वारा संचालित मामले में प्रासंगिक नहीं है, यदि अभियोजन पक्ष परिस्थितियों की एक कड़ी स्थापित करने में असमर्थ है। मा न्यायमूर्ति अजय रस्तोगी और मा न्यायमूर्ति अभय एस. ओका की पीठ … Read more

जज के बार-बार मना करने पर भी अदालत में वकील ने की ‘आवाज ऊंची’, अपमान के आरोप में हुआ केस दर्ज-

rohini court e1631715907784

वाक्या रोहिणी कोर्ट में हत्या की कोशिश से जुड़े एक मामले में आरोपी को अंतरिम जमानत दिलाने के लिए अदालत पहुंचा एक वकील वहां जाकर खुद एक ‘अपराध’ कर बैठा। वकील को अदालत में ‘आवाज ऊंची’ करने और एक जज की चेतावनियों को अनसुना करने का खामियाजा भुगतना पड़ा। उसे अब अपने इस बर्ताव की … Read more

केंद्र और राज्य सरकारों को SC-ST कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण देने की नीतियों में उन सभी शर्तों को पूरा करना होगा – सुप्रीम कोर्ट ऑफ़ इंडिया

कोर्ट ऑफ़ इंडिया e1631678501991

सर्वोच्च अदालत ने मंगलवार को कहा कि केंद्र और राज्य सरकारों को अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (SC-ST) के कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण RESERVATION IN PROMOTION देने की नीतियों POLICIES में उन सभी शर्तों को पूरा करना होगा, जो सर्वोच्च अदालत की अलग-अलग संविधान पीठ ने पिछले दो फैसलों में तय की हैं। गौरतलब … Read more

वकीलों द्वारा ‘फर्जी’ जनहित याचिकाएं दायर करने की हरकत को प्रोत्साहित नहीं कर सकती है – सर्वोच्च न्यायालय

supreme court e1632116631781

पीठ ने याचिका खारिज कर दी और याचिकाकर्ता पर दस हजार रूपये का जुर्माना लगाया- शीर्ष अदालत ने मंगलवार को वकीलों से जुड़ी एक याचिका पर अहम फैसला सुनाया। ज्ञात हो कि एक जनहित याचिका में सर्वोच्च न्यायालय से मांग की गई थी कि वह कोरोना वायरस या अन्य किसी कारण से जान गंवाने वाले … Read more

अविवाहित बेटी या विधवा बेटी को ही अनुकंपा नियुक्ति हेतु पात्र माना जायेगा-सर्वोच्च अदालत

IMG 20210914 130828

शीर्ष न्यायालय ने सोमवार को व्यवस्था दी कि कर्नाटक के एक कानून के तहत किसी सरकारी सेवक की मृत्यु के समय उस पर आश्रित रही और उसके साथ रहने वाली ‘अविवाहित बेटी’ और ‘विधवा बेटी’ को ही उसकी मृत्यु के बाद अनुकंपा आधार पर नियुक्ति के लिए पात्र और आश्रित कहा जा सकता है. सर्वोच्च … Read more

तलाक की याचिका दायर करने के लिए एक वर्ष की अनिवार्य अवधि को माफ कर उच्च न्यायलय ने दिया डिक्री-

us 13 b

फैमिली कोर्ट ने उक्त आवेदन के साथ-साथ अधिनियम की धारा 13-बी के तहत एक याचिका की अनुमति नहीं दी है-  मा न्यायमूर्ति रितु बाहरी और मा न्यायमूर्ति अर्चना पुरी की पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय की खंडपीठ ने इस पर अपनी राय दी कि क्या तलाक की याचिका दायर करने के लिए एक वर्ष की … Read more

तीन वर्षो से न्याय पाने के लिए लगा रहा था कोर्ट के चक्कर, जज ने पार्किग में ही अदालत लगा की सुनवाई-

court344

जज ने जब मुवक्किल की बेहाली का आलम अपनी आंखों से देखा तो उन्होंने उसे कार के अंदर ही बैठे रहने को कहा. साथ ही जज ने मुवक्किल से कहा, ‘आप बिलकुल परेशान न हों. कार में जैसे भी आपको आराम मिले आप बैठे रहें. मैं यहीं पर कोर्ट लगाकर मामले की सुनवाई पूरी कर … Read more

कथित तौर पर फेसबुक कॉल पर निकाह करके महिला को अस्वीकार करने पर भी हाई कोर्ट से मिली अग्रिम जमानत-

facebook nikhah

इलाहाबाद उच्च न्यायालय के मा. न्यायमूर्ति चंद्रधारी सिंह ने एक ऐसे व्यक्ति को अग्रिम जमानत दे दी जिसने एक महिला के साथ फेसबुक कॉल के माध्यम से निकाह किया और फिर महिला को अस्वीकार कर दिया- जाने पूरा मामला- यह आरोप लगाया गया था कि आवेदक (पुरुष) का फेसबुक पर शिकायतकर्ता (महिला) के साथ पिछले … Read more

क्या एक हिंदू पुनर्विवाहित विधवा पुनर्विवाह के बाद मृत पति की संपत्ति में हिस्सा प्राप्ति कर सकती है – उच्च न्यायलय

1600x960 389342 nagpur bench

वर्तमान प्रकरण में, बॉम्बे हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति एस.एम.मोदक ने इस मुद्दे पर अपनी राय दी कि क्या एक हिंदू पुनर्विवाहित विधवा मृत पति की संपत्ति में अपने हिस्से का दावा कर सकती है? केस के तथ्य- मृतक भारतीय रेलवे में प्वॉइंटमैन के पद पर कार्यरत था। उसकी शादी प्रतिवादी से हुई थी। मृतक की मृत्यु … Read more

क्या राजस्व अभिलेख में संपत्ति के म्युटेशन से संपत्ति का मालिकाना हक मिलेगा ? शीर्ष अदालत का जवाब-

12supreme court

उच्चतम न्यायलय ने संपत्ति के मालिकाना हक को लेकर बड़ा फैसला – शीर्ष अदालत ने गुरुवार को फिर एक बार कहा कि रेवेन्यू रिकॉर्ड में संपत्ति के दाखिल-खारिज (Mutation of Property) से न तो संपत्ति का मालिकाना हक मिल जाता है और न ही समाप्त होता है। संपत्ति का मालिकाना हक केवल एक सक्षम सिविल … Read more