इलाहाबाद हाईकोर्ट ने स्टाम्प ड्यूटी की कमी के मामले में याचिका खारिज की, कहा – ‘शो कॉज नोटिस चुनौती देने का समय अभी नहीं’

इलाहाबाद हाई कोर्ट

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने स्टाम्प ड्यूटी की कमी के मामले में याचिका खारिज की, कहा – ‘शो कॉज नोटिस चुनौती देने का समय अभी नहीं’ मुख्य बिंदु: ✔ स्टाम्प ड्यूटी की कमी की कार्यवाही आर्बिट्रेशन प्रक्रिया के दौरान भी जारी रह सकती है। ✔ शो कॉज नोटिस को चुनौती देने के लिए अभी कोई आधार नहीं, … Read more

दोनों प्राधिकारियों पंजीकरण प्राधिकारी और कलेक्टर को ‘विश्वास करने का कारण’ अभिव्यक्ति के आधार पर संपत्ति के बाजार मूल्य के संबंध में निर्णय लेने का विवेक निहित, भारतीय स्टाम्प अधिनियम की धारा 47-ए (1) उत्पीड़न के इंजन के रूप में काम करती है – सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने महाकुंभ भगदड़ को दुर्भाग्यपूर्ण बताया, सुरक्षा उपायों के लिए PIL पर विचार करने से किया इनकार

सुप्रीम कोर्ट ने इस बात पर जोर दिया कि यह सुनिश्चित करना पंजीकरण अधिकारी का कर्तव्य है कि भारतीय स्टाम्प अधिनियम, 1899 (Indian Stamp Act) की धारा 47-ए (1) उत्पीड़न के इंजन के रूप में या नियमित मामले के रूप में काम न करे। न्यायालय ने इस प्रकार मुख्य राजस्व नियंत्रण अधिकारी-सह-पंजीकरण महानिरीक्षक और दो … Read more

भारतीय स्टाम्प अधिनियम के तहत पंजीकरण शुल्क के भुगतान में किसी भी कमी की वसूली का आदेश देने का अधिकार स्टाम्प अधिकारियों को नहीं है: इलाहाबाद HC

10 06 2020 High Court Lucknow Bench 20373039

इलाहाबाद उच्च न्यायालय लखनऊ खंडपीठ ने पाया कि भारतीय स्टाम्प अधिनियम में ऐसा कोई प्रावधान नहीं है जो स्टाम्प अधिकारियों/स्टाम्प संग्रहकर्ता को पंजीकरण शुल्क के भुगतान में किसी कमी की वसूली का आदेश देने का अधिकार देता हो। याचिकाकर्ता ने न्यायलय के समक्ष एक याचिका दायर की गई, जिसमें भारतीय स्टाम्प अधिनियम, 1899 की धारा … Read more

सर्वोच्च न्यायालय ने माना कि राज्य विधानमंडल संसद द्वारा निर्धारित दर के अनुसार बीमा पॉलिसियों पर स्टाम्प ड्यूटी लगाने और वसूलने की विधायी क्षमता है

JUSTICE पी.एस. नरसिम्हा और न्यायमूर्ति अरविंद कुमार

सर्वोच्च न्यायालय ने माना कि राज्य विधानमंडल के पास संविधान की सूची III की प्रविष्टि 44 के तहत बीमा पॉलिसियों पर स्टाम्प ड्यूटी लगाने और वसूलने की विधायी क्षमता है, जो संसद द्वारा सूची I की प्रविष्टि 91 के तहत निर्धारित दर के अनुसार है। न्यायालय ने सिविल अपीलों के एक समूह में यह माना, … Read more

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि बिना मुहर लगे या अपर्याप्त मुहर लगे समझौतों में मध्यस्थता धाराएं लागू करने योग्य, यह दस्तावेज़ को अस्वीकार्य बनाता है

SUPREME COURT

सुप्रीम कोर्ट Supreme Court ने फैसला सुनाया कि बिना मुहर लगे या अपर्याप्त मुहर लगे समझौतों में मध्यस्थता धाराएं लागू करने योग्य हैं। ऐसा करते हुए न्यायालय ने मैसर्स एन.एन. ग्लोबल मर्केंटाइल प्रा. लिमिटेड बनाम मैसर्स. इंडो यूनिक फ्लेम लिमिटेड और अन्य मामले में इस साल अप्रैल में 5-न्यायाधीशों की पीठ द्वारा दिए गए फैसले … Read more

यदि दस्तावेज़ शुल्क के साथ चार्ज योग्य नहीं है तो बार यू/एस 35 स्टाम्प अधिनियम लागू नहीं होगा; अन्य कानूनी आवश्यकताएं पूरी होने पर प्रति को द्वितीयक साक्ष्य के रूप में पेश किया जा सकता है: सुप्रीम कोर्ट

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सुप्रीम कोर्ट ने माना कि भारतीय स्टाम्प अधिनियम 1899 की धारा 35 का कोई उपयोग नहीं है यदि स्वीकार किया जाने वाला दस्तावेज़ शुल्क के साथ प्रभार्य नहीं है। इसलिए अदालत ने कहा कि यदि अन्य कानूनी आवश्यकताएं पूरी होती हैं तो ऐसे दस्तावेज़ की एक प्रति को द्वितीयक साक्ष्य के रूप में पेश किया … Read more